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Phone size as Nano-sensor मोबाइल आकार, नैनो सेंसर के रूप में


मोबाइल, नैनोसेंसर, 1G, 2G, 3G, 4G, 5G

मोबाइल आकार, नैनो सेंसर के रूप में


मोबाइल के बारे में सभी लोग जानते हैं । यह ऐसी डिवाइस है, जिसके कारण एक व्यक्ति दूसरे व्यक्ति से बिना किसी तार की आसानी से संपर्क कर पाता है । यह विज्ञान का एक बहुत बड़ा चमत्कार माना जा सकता है । इसके कारण लोग एक दूसरे से बहुत दूर होकर भी अपने आप को बहुत पास महसूस करते हैं ।

शुरुआती तौर पर मोबाइल आकार में बहुत बड़े हुआ करते थे । उसके बाद समय बदलता गया और मोबाइल फोन नेअपना आकार कम करता रहा । आज हम मोबाइल के 4G या 5G होने का दावा करते हैं । मोबाइल फोन 1945 में 0G से शुरू हुआ । इस समय इसका आकार इतना होता था कि बेस स्टेशन बनाना अनिवार्य हो जाता था । उसके बाद 1980 के दशक में स्वचालित सेल्यूलर नेटवर्क की शुरुआत हुई । और मोबाइल की प्रथम जनरेशन प्राप्त हुई । इसके बाद 1991 में 1जी GSM मोबाइल ने दूरसंचार में 2G को जन्म दिया । 2001 में जापान द्वारा 3G को शुरू किया । उसके बाद 4G 5G आते गए और मोबाइल आकार मे कम होता चला गया ।
समय के साथ मोबाइल के आकार में कमी उच्च तकनीक को प्रदर्शित करती है । यह आकार समय के साथ बहुत कम होता जा रहा है । इसमें वर्तमान तकनीक नैनोसाइंस का बहुत उपयोग है । मोबाइल फोन आज इतने पतले बना दिए गए हैं कि उन्हें इंसान अपने हथेली में टैटू की भांति लगवा सकते हैं । तथा उनका उपयोग आसानी से कर सकते हैं । यह केवल नैनो टेक्नोलॉजी के कारण ही संभव हो पाया है। यही कारण है कि आजकल ऐसी कई उपकरण बनाए जा चुके हैं । जिन्हें इंसान अपनी हथेली में घड़ी की तरह उपयोग करता है । यह उपकरण समय बताने के साथ साथ उसके शरीर का तापमान, BP आदि को भी एनालिसिस करते हैं ।


मोबाइल का उपयोग दूरसंचार के क्षेत्र में ही नहीं अपितु चिकित्सा के क्षेत्र में भी इसका अत्यधिक उपयोग किया जा रहा है । नैनो टेक्नोलॉजी की सहायता से हम मोबाइल के आकार को ओर कम कर सकते हैं । इसका उपयोग एक स्टीकर की तरह किया जाता है तो यह कई प्रकार से लाभकारी साबित हो सकता है ।








Phone size as Nano-sensor

Everyone knows about mobile.  It is such a device, due to which one person can easily contact another person without any wires.  This can be considered a great miracle of science.  Due to this, people feel very close to themselves even after being far away from each other. Mobile is mostly required in the present scenario.
 Initially, mobiles were very large in size.  After that time changed and the mobile phone kept reducing its size.  Today we claim the mobile to be 4G or 5G.  The mobile phone started with 0G in 1945.  At this time its size was so much that it became mandatory to build a base station.  The automated cellular network then began in the 1980s.  And got the first generation of mobile.  Then in 1991 1G GSM Mobile gave birth to 2G in telecommunications.  3G was launched by Japan in 2001.  After that, 4G 5Gs came and the mobile size reduced.
The decrease in mobile size over time reflects high technology.  This size is becoming very small over time.  Current technology in this is a lot of use of nanoscience.  Mobile phones have been made so thin today that humans can have them tattooed in their palm.  And you can use them easily.  This has been possible only due to nanotechnology.  This is the reason why many such devices have been made nowadays.  Which humans use in their palm like clock.  This device analyzes its body temperature, BP, etc., along with telling time.
The use of mobile is not only being used heavily in the field of telecommunications but also in the field of medicine.  With the help of nanotechnology, we can further reduce the size of the mobile.  If it is used as a sticker, it can prove beneficial in many ways.


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